मंगलवार को राज्य सरकार ने उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग के गठन को मंजूरी दी है। इस आयोग के माध्यम से राज्य के उच्च, माध्यमिक और मूल शिक्षा विभागों में शिक्षकों की भर्ती की जायेगी। मंगलवार को राज्य कैबिनेट ने उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग विधेयक, 2023 मंजूरी दिया है।
इस बिल में उल्लिखित है कि प्रस्तावित उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग राज्य के विभिन्न संस्थानों में उच्च शिक्षा, माध्यमिक शिक्षा, मूल शिक्षा, व्यावसायिक शिक्षा, अल्पसंख्यक कल्याण, waqf department और श्रम विभाग में शिक्षकों की भर्ती का आयोजन करेगा।
सरकार ने कहा कि यह कदम शिक्षकों के चयन में एक समानता, पारदर्शिता और समय-सीमित चयन प्रक्रिया के साथ होगा। इस आयोग में एक अध्यक्ष और 12 सदस्य होंगे। यह आयोग एक regulated body होगा और इसका मुख्यालय प्रयागराज में स्थित होगा।
उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन आयोग विभिन्न शिक्षक चयन आयोगों और मंडलों का एकीकृत रूप होगा। यह आयोग उत्तर प्रदेश के शिक्षा क्षेत्र में अध्यापकों की चयन प्रक्रिया को सुनिश्चित करेगा और इसके साथ ही उत्तर प्रदेश उच्च शिक्षा सेवा आयोग और उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन मंडल को बंद किया जाएगा। उत्तर प्रदेश के शिक्षा क्षेत्र में एकीकृत चयन आयोग के कारण, शिक्षा सेवा की भर्ती प्रक्रिया में सुधार होगा।
अप्रैल में, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य में विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों में शिक्षकों की भर्ती के लिए उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन समिति – की स्थापना के निर्देशित किए है। मुख्यमंत्री ने अलग-अलग शैक्षणिक संस्थानों द्वारा अपनाए गए शिक्षक भर्ती प्रक्रियाओं की समीक्षा के दौरान यह निर्देश पारित किया।
अप्रैल महीने में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों में शिक्षकों की भर्ती के लिए एक स्वायत्त समिति – उत्तर प्रदेश शिक्षा सेवा चयन समिति – की स्थापना के निर्देश दिए है। मुख्यमंत्री ने विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों द्वारा अपनाए गए शिक्षक भर्ती प्रक्रियाओं की समीक्षा के दौरान यह निर्देश पारित था।